उत्तर प्रदेश

Muzaffarnagar News: पूर्ति विभाग पर फिर लगे बदनामी के छींटे, अधिकारी पर एफआइआर

जानसठ तहसील में एआरओ के पद पर थे तैनात, रिश्वत मांगने का लगा आरोप, आडियो प्रकरण में हो चुके संस्पेंड

LP Live, Muzaffarnagar: हमेशा चर्चाओं में रहने वाला मुजफ्फरनगर के पूर्ति विभाग पर एक बार फिर से बदनामी के छींटे लगे हैं।भोपा थाना त्र के ग्राम बाकरनगर निवासी राशन डीलर ने जानसठ तहसील में  एआरओ के पद पर तैनात रहे विकास कुमार के खिलाफ थाने में तहरीर दी, जिसके बाद एआरओ पर मुकदमा दर्ज हुआ है। राशन डीलर ने एआरओ पर कुल खाद्यान्न वितरण में  प्रति कुंतल के हिसाब से रुपये मांगने का आरोप लगाया है। रिश्वत का विरोध करने पर प्रताड़ित करने का भी आरोप लगाया गया है।

कोटेदार सुरेश ने थाने में तहरीर देकर बताया कि वह पिछले 9 वर्षो से बाकरनगर में राशन की दुकान चलाता है।  राशन डीलर का आरोप है कि जानसठ तहसील के पूर्ति कार्यालय में तैनात पूर्व एआरओ विकास कुमार, जिन्हें कुछ महीने पहले ही आडियो प्रकरण में खाद़य आयुक्त ने संस्पेड किया था,  ने उसके द्वारा वितरण किए गए खाद्यान्न पर 35 रुपये प्रति कुंतल के हिसाब से हिस्से की मांग की थी। एआरओ ने उसे उच्चाधिकारियों से अपनी पहचान होने की धमकी भी दी थी। सुरेश ने एआरओ को हिस्से के रूप मेें रिश्वत देने से मना कर दिया। उसके बाद से कोटेदार सुरेश के साथ पूर्ति कार्यालय में अभद्र व्यवहार किया जाने लगा। एआरओ के द्वारा उसके साथ तहसील परिसर में धक्का-मुक्की व गाली गलौज तक करने का दावा किया गया है।

यह था पूरा प्रकरण

पुलिस को दी गई तहरीर में कोटेदार ने बताया कि गत वर्ष 29 सितंबर को एआरओ ने राशन डीलरों की मीटिंग बुलाकर राशन डीलरों से खुलेआम रिश्वत की मांग की थी, जिसके फोटो व ऑडियो रिकार्डिंग कोटेदार ने अपने मोबाइल में सेव कर ली थी थे, जिसकी रिकार्डिंग उसके पास है। एफआइआर में मौके पर मौजूद अन्य राशन डीलरों के नामों का भी उल्लेख किया है। जब एआरओ को इसकी जानकारी हुई तो उसने सुरेश के खिलाफ खाद्य आयोग को फर्जी शिकायत भेजकर मुकदमा दर्ज करवा दिया था। सुरेश ने बताया कि एआरओ के द्वारा उसे फर्जी तरीके से फंसाया गया है। सुरेश ने थाने में एआरओ विकास कुमार के खिलाफ भ्रष्टाचार अधिनियम के तहत एफआईआर दर्ज कराई है। कोतवाली प्रभारी विश्वजीत सिंह के अनुसार पूर्ति अधिकारी  विकास कुमार के खिलाफ एफआईआर दर्ज हुई है। एफआईआर के आधार पर जांच कर आगे की कार्रवाई की जा रही है।

लंबे समय से बदनामी झेल रहा विभाग, जेल तक गए डीएसओ

मुजफ्फरनगर का पूर्ति विभाग पहले से ही सुर्खियों में रहा है। यहां तैनात रहे डीएसओ मदन यादव के स्थानांतरण के बाद तैनात हुए  डीएसओ के कार्यकाल उलझनों भरे रहे हैं। डीएसओ सुनील कुमार पुष्कर के समय में जनपद में ई पास राशन घोटाला सामने आया था, जिसमें नगर स्थिित कार्यालय में तैनात निजी कम्प्यूटर आपरेटरों और राशन डीलरों पर पूर्ति निरीक्षकों ने कई थानों में अलग अलग एफआइआर दर्ज कराई थी, हालाकि इसी मामले में बाद में नगर क्षेत्र की पूर्ति निरीक्षक मोहिनी मिश्रा को भी संस्पेंड कर दिया गया था, जिन्हें कई महीने बाद बहाल कर मुरादाबाद मंडल में पोस्टिंंग दी गई थी। खुद डीएसओ सुनील कुमार पुष्कर भी एक दूसरे मामले में सस्पेंड हुए। इसके बाद पिछले वर्ष यहां तैनात रहे डीएसओ बीके शुक्ला तो तेल चोरी के मामले में जेल तक चले गए। उनके साथ कार्यालय का पूर्व कर्मचारी श्रीराम भी कई महीने जेल में बंद रहा। कुछ महीने पहले जानसठ क्षेत्र में तैनात एआरओ विकास कुमार आडियो प्रकरण में संस्पेड हुआ। अब कोटेदार ने विकास कुमार पर एफआइआर भी दर्ज करा दी है।

 

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