

जस्टिस बीआर गवई के कई ऐतिहासिक फैसले बने है देश के लिए नजीर
LP Live, New Delhi: भारत के मुख्य न्यायाधीश के रुप में जस्टिस भूषण रामकृष्ण गवई को राष्ट्रपति द्रोपदी मुर्मू ने पद व गोपनीयता की शपथ दिलाई। गवाई भारत के 52वें चीफ जस्टिस (सीजेआई) बने हैं। गवई ने सेवानिवृत्त हुए सीजेआई संजीव खन्ना के स्थान पर पदभार ग्रहण किया है।

राष्ट्रपति भवन में बुधवार को आयोजित शपथ ग्रहण समारोह के दौरान राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू ने जस्टिस भूषण रामकृष्ण गवई को देश के 52वें भारत के मुख्य न्यायाधीश के रुप में शपथ दिलाई। इस समारोह में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी, उपराष्ट्रपति जगदीप धनखड, केंद्रीय कानून मंत्री अर्जुनराम मेघवाल और कई वरिष्ठ मंत्री इस समारोह में शामिल हुए। जस्टिस गवई ने जस्टिस संजीव खन्ना की जगह ली है, जो भारत के मुख्य न्यायाधीश के पद से मंगलवार को सेवानिवृत्त हुए हैं। गौरतलब है कि जस्टिस गवई का कार्यकाल कई महत्वपूर्ण फैसलों के लिए जाना जाता है, जिसमें धारा 370 को हटाने, चुनावी बॉन्ड योजना को रद्द करने और नोटबंदी जैसे बड़े कानूनी मामलों में दिये गये ऐतिहासिक फैसलों में महत्वपूर्ण भूमिका एक नजीर बनकर सामने आई। गौरतलब है कि बीते माह की 30 तारीख को कानून मंत्रालय ने जस्टिस गवई की भारत के 52वें मुख्य न्यायाधीश के रूप में नियुक्ति की अधिसूचना जारी की थी। 16 अप्रैल को सीजेआई खन्ना ने केंद्र सरकार से उनके नाम की सिफारिश की थी।
