उत्तर प्रदेश

यूपी के सरकारी अस्पतालों को मिली 1354 स्टाफ नर्सें

मुख्यमंत्री योगी ने 21 नवचयनित स्टाफ नर्सों को सौंपें नियुक्ति पत्र

सरकार ‘एक जनपद एक मेडिकल कॉलेज’ के निर्माण पर अग्रसर
LP Live, Lucknow: उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने उत्तर प्रदेश लोक सेवा आयोग से प्रदेशभर के जिलों के लिए चयनित 1354 स्टाफ नर्सों के नियुक्ति पत्र वितरण समारोह में 21 नवचयनित स्टाफ नर्सों को नियुक्ति पत्र प्रदान किये।
मुख्यमंत्री योगी ने रविवार को यहां लोक भवन के सभागार में उत्तर प्रदेश लोक सेवा आयोग द्वारा सभी 75 जनपदों के लिए चयनित 1354 स्टाफ नर्सों के नियुक्ति पत्र वितरण के कार्यक्रम में कहा कि पिछले पांच साल में की शासकीय सेवाओं में विभिन्न पदों पर पारदर्शी एवं निष्पक्ष चयन प्रक्रिया के माध्यम से पांच लाख से अधिक युवाओं को नियुक्ति प्रदान की गई है। इस मौके पर उन्होंने 21 नवचयनित स्टाफ नर्सों को नियुक्ति पत्र प्रदान किये। इन 1354 स्टाफ नर्सों में से 90 फीसदी बालिकाओं और महिलाओं के चयन को लेकर कहा कि नारियों को अपने कैरियर को आगे बढ़ाने का अवसर मिलेगा।

अस्पताल में नर्सो की अहम भूमिका
मुख्यमंत्री ने कहा कि स्टाफ नर्स स्वास्थ्य विभाग की रीढ़ होती हैं। मेडिकल ऑफिसर, चिकित्सक अथवा विशेषज्ञ मरीज को ओपीडी में एक बार देखेगा, वॉर्ड में भर्ती मरीज को भी एक बार राउण्ड करके देख लेता है। लेकिन अस्पताल में मरीज को सबसे अधिक नजदीक स्टाफ नर्स को रहना पड़ता है। प्रदेश सरकार ने विगत कुछ समय से स्टाफ नर्सेज के उत्तम प्रशिक्षण के लिए कदम उठाए हैं। आज हर सरकारी मेडिकल कॉलेज में नर्सिंग कॉलेज की स्थापना या तो की जा चुकी है या स्थापित करने की प्रक्रिया तेजी के साथ आगे बढ़ रही है। जिला अस्पतालों में इस प्रकार के प्रशिक्षण और पैरामेडिक्स के प्रशिक्षण के कार्यक्रम को भी तेजी के साथ आगे बढ़ाया गया है। इस क्षेत्र में नौकरियों की कमी नहीं है। उत्तम प्रशिक्षण के साथ इसमें नौकरी की अनेक सम्भावनाएं हैं। प्रदेश में प्रति एक लाख की आबादी पर चिकित्सकों, पैरामेडिकल स्टाफ तथा स्टाफ नर्सेज का जो अनुपात होना चाहिए, वह दुनिया तथा भारत में भी काफी कम है। इस गैप को पूरा करने की दृष्टि से प्रदेश सरकार ने यह कदम उठाएं हैं।

प्रदेश में हुई पांच लाख से ज्यादा नियुक्तियां
मुख्यमंत्री ने कहा कि प्रदेश में मिशन रोजगार के अन्तर्गत शासकीय सेवाओं के लिए अभियान चल रहा है। इतनी नौकरियां कभी नहीं निकली थी। बेसिक शिक्षा परिषद में 1.26 लाख से अधिक शिक्षकों की नियुक्ति हुई। जबकि माध्यमिक शिक्षा में 40 हजार से अधिक तथा पुलिस विभाग में 01. 60 लाख भर्ती की प्रक्रिया को पारदर्शी तरीके से की गई। इसी प्रकार स्वास्थ्य विभाग में भी अलग-अलग पदों पर नियुक्ति की प्रक्रिया पारदर्शिता के साथ पूरा करके सरकार प्रदेश के युवाओं को जब राज्य में ही नौकरी व रोजगार देने के लिए प्रतिबद्धता को पूरा कर रही है। उन्होंने कहा कि प्रदेश में नौकरी व रोजगार की सम्भावनाएं कभी कम नहीं होगी। सरकार के पास पोटेंशियल था, लेकिन उसे सामने लाने, समय के अनुरूप ढालने तथा तकनीक के साथ जोड़ने का ईमानदारी पूर्वक प्रयास नहीं हो पाया था। केन्द्र व राज्य सरकार के संयुक्त प्रयास से प्रदेश में विभिन्न सेक्टर्स में 1.61 करोड़ से अधिक रोजगार का सृजन किया गया। राज्य में 60 लाख से अधिक स्वरोजगार के सृजन की कार्यवाही इस दौरान की गई।

कोरोनाकाल में स्वास्थ्यकर्मियों का अहम योगदान
मुख्यमंत्री योगी ने कहा कि कोरोना महामारी के दौरान अपनी जान को जोखिम में डालते हुए प्रदेश की 25 करोड़ आबादी को बचाने के लिए स्वास्थ्य विभाग, स्वास्थ्यकर्मियों, एएनएम, आंगनबाड़ी और आशा वर्कर द्वारा किये गये कार्य अत्यन्त अभिनन्दनीय और सराहनीय रहा। एमएसएमई सेक्टर, एक जनपद एक उत्पाद योजना तथा विश्वकर्मा श्रम सम्मान जैसी योजनाओं के माध्यम से 40 लाख प्रवासी कामगार एवं श्रमिकों को रोजगार या स्वरोजगार से जोड़ने में सफलता प्राप्त हुई। इस अवसर पर उप मुख्यमंत्री ब्रजेश पाठक, चिकित्सा शिक्षा, चिकित्सा एवं स्वास्थ्य तथा परिवार कल्याण राज्यमंत्री मयंकेश्वर शरण सिंह, प्रमुख सचिव चिकित्सा, स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण श्री पार्थ सारथी सेनशर्मा तथा अन्य वरिष्ठ अधिकारीगण उपस्थित थे।

 

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