उत्तर प्रदेशस्वास्थ्य
जन्म के एक घंटे में बच्चें को कराए स्तनपान, दूर रहेगी बीमारियां
उत्तर प्रदेश में मनाया जा रहा पानी नहीं केवल स्तनपान अभियान


LP Live, Desk: शिशु को छह माह की आयु तक स्तनपान की दर में बढ़ोतरी करने तथा शिशु मृत्यु दर में कमी लाने के लिए बाल विकास एवं पुष्टाहार विभाग के तत्वाधान में पानी नहीं केवल स्तनपान अभियान चलेगा। एक मई को मुजफ्फरनगर समेत पूरे प्रदेश भर में यह अभियान चलाया जाएगा।
पानी नहीं केवल स्तनपान अभियान को लेकर डीएम अरविंद मलप्पा बंगारी ने अधिकारियों को पत्र के माध्यम से दिशा-निर्देश जारी कर दिए गए हैं। जिला कार्यक्रम अधिकारी राजेश कुमार गोंड ने बताया कि शासन के निर्देश पर अभियान से संबंधित दिशा-निर्देश सभी विकासखंड के बाल विकास परियोजना अधिकारियों को जारी कर दिए गए हैं। उन्होंने कहा कि छह माह तक के बच्चों को केवल स्तनपान कराने के लिए जागरूकता कार्यक्रम संचालित किया जाएगा। अभियान के तहत आंगनबाड़ी कार्यकत्रियों द्वारा जागरूक किया जाएगा कि छह माह तक के बच्चों घर भ्रमण कर प्रचार-प्रसार करते हुए केवल स्तनपान सुनिश्चित कराना है। बताया जाएगा कि मां का दूध छह महीने तक के बच्चों के लिए अमृत के समान होता है। बाल मृत्यु दर में कमी लाने के लिए आवश्यक है कि जन्म के एक घंटे के अंदर बच्चें को स्तनपान शुरू करा दिया जाए। छह महीने की आयु तक बच्चे को केवल स्तनपान ही कराया जाए। जिला कार्यक्रम अधिकारी राजेश कुमार गोंड ने कहा कि छह माह की आयु तक केवल स्तनपान बच्चे के जीवन की रक्षा के लिए अत्यंत आवश्यक है, मगर जागरूकता की कमी और समाज में प्रचलित विभिन्न मान्यताओं और मिथकों के कारण छह माह से कम आयु के बच्चों को शहद, चीनी का घोल, पानी आदि का सेवन करा दिया जाता है। जिससे बच्चों में कई प्रकार के संक्रमण हो जाते हैं और बच्चों की प्रतिरोधक क्षमता कम होती जाती है। बच्चे के प्यासा रहने की आशंका में उसे पानी देने का प्रचलन गर्मी में बढ़ जाता है। उन्होंने कहा-मां के दूध में अन्य पौष्टिक तत्व के साथ-साथ पानी भी पर्याप्त मात्रा में उपलब्ध होती है, जिससे बच्चों की पानी की आवश्यकता केवल स्तनपान से ही पूरी हो जाती हैं। इसलिए बच्चे को छह माह तक अलग से पानी देने की बिल्कुल आवश्यकता नहीं होती है। अभियान के अंतर्गत आशाएं, आंगनवाड़ी कार्यकत्रियों और सभी कन्वर्जेंस विभागों द्वारा प्रचार-प्रसार एवं ग्राम स्तरीय रैली का आयोजन होगा, जिससे माताएं बच्चों को छह महीने तक स्तनपान कराएं।
