विभिन्न योजनाओं से कमजोर वर्ग के लोगों की आर्थिक विकास की प्रतिबद्धता
हरियाणा सरकार का कृषि, पशुपालन व सहकारिता पर फोकस
LP Live, Chandigarh: हरियाणा विधानसभा के शुरू हुए बजट सत्र में राज्यपाल बंडारू दत्तात्रेय ने अभिभाषण के दौरान कहा कि प्रदेश सरकार सुशासन से अंत्योदय के विजन को साकार कर रही है। एक लाख से कम वार्षिक आय वाले 3.35 लाख परिवारों की आय बढ़ाने पर जोर दे रही है। उन्होंने कहा कि सरकार द्वारा लागू किए गए कई नवाचारों से और मानव हस्तक्षेप कम करने से अनियमितताओं पर अंकुश लगा है और गुणवत्तापूरक सेवा प्रदायगी सुनिश्चित हुई है।
राज्यपाल के अभिभाषण से शुरू हुए हरियाणा विधानसभा के बजट सत्र में अपने संबोधन में राज्यपाल दत्तात्रेय ने सुशासन से अंत्योदय-सरकार का मिशन को लेकर कहा कि डी.बी.टी. सुविधा, ऑटो अपील प्रणाली, परिवार पहचान पत्र योजना, स्वामित्व, मेरा पानी-मेरी विरासत, मुख्यमंत्री अंत्योदय परिवार उत्थान योजना, आधुनिक राजस्व रिकॉर्ड रूम, जन सहायक एम-गवर्नेंस पहल, ई-खरीद, व्यवसाय सुधार कार्य योजना, हरियाणा कौशल रोजगार निगम और कई अन्य पहलों ने सबका साथ-सबका विकास, सबका विश्वास-सबका प्रयास और हरियाणा एक-हरियाणवी एक की सरकार की प्रतिबद्धता को रेखांकित किया है। उन्होंने कहा कि सरकार ने 100 करोड़ रुपये से अधिक लागत की विकास परियोजनाओं के लिए बने विशेष निगरानी प्रकोष्ठ के तहत मुख्यमंत्री के साथ-साथ मुख्य सचिव वर्तमान में 15 विभागों की कुल 58 हजार करोड़ रुपये के अनुमानित परिव्यय की 91 परियोजनाओं की निगरानी हो रही हैं। हरियाणा सरकार द्वारा राज्य के सबसे गरीब परिवारों की वार्षिक पारिवारिक आय कम से कम 1 लाख 80 हजार रुपये और इससे अधिक करने के उद्देश्य से मुख्यमंत्री अंत्योदय परिवार उत्थान योजना शुरू की गई है। वर्तमान ऋण योजनाओं, कौशल-विकास योजनाओं और विभिन्न विभागों के निजी या मजदूरी रोजगार से जोड़ने और उनकी आय में वृद्धि की सुविधा के लिए अभी तक ऐसे 3.35 लाख परिवारों की पहचान की जा चुकी है, जिनकी वार्षिक पारिवारिक आय 1 लाख रुपये से कम है। राज्यपाल ने कहा कि गरीब से गरीब परिवारों की आय बढ़ाने के लिए सरकार द्वारा शुरू की गई मुख्यमंत्री अंत्योदय परिवार उत्थान योजना में पशुपालन एवं डेयरी विभाग को जबरदस्त प्रतिक्रिया मिली है। उन्होंने प्रदेश की कानून व्यवस्था, रोजगार, औद्योगिक विकास, सभी वर्गो के आर्थिक विकास, बुनियादी ढांचा विकास जैसे मुद्दो पर हो रहे कामकाज का भी जिक्र किया।
भ्रष्टाचार पर लगाई लगाम
राज्यपाल ने कहा कि अंत्योदय के उत्थान के साथ सरकार भ्रष्टाचार के प्रति जीरो टॉलरेंस रखती है। सरकार के भ्रष्टाचार-रोधी मिशन को आगे बढ़ाने के लिए सीएम फ्लाइंग स्क्वॉड लगातार काम कर रहा है। वर्ष 2022 के दौरान सीएम फ्लाइंग स्क्वॉड ने कुल 1,303 छापे मारे। इन छापों के परिणामस्वरूप 456 प्राथमिकी दर्ज की गईं और 555 व्यक्तियों को गिरफ्तार किया गया। इन छापों में खाद्य पदार्थों में मिलावट, अवैध खनन, वाहनों की ओवरलोडिंग, अवैध शराब, बिजली चोरी, सरकारी कार्यालयों की औचक जांच आदि मुद्दे शामिल हैं। भ्रष्टाचार-रोधी इस अभियान के तहत वर्ष 2022 के दौरान हरियाणा राज्य सतर्कता ब्यूरो, जिसे अब भ्रष्टाचार विरोधी ब्यूरो के रूप में नया नाम दिया गया है, ने भ्रष्टाचार के खिलाफ चल रहे अभियान के तहत 193 सरकारी कर्मचारियों और 27 निजी व्यक्तियों को 246 केसों में भ्रष्टाचार के आरोपों में गिरफ्तार किया गया।
कृषि और बागवानी पर जोर
राज्यपाल बंडारु दत्तात्रेय ने कहा कि हरियाणा सरकार ने सदैव कृषि और बागवानी पर जोर दिया है। कृषि और बागवानी का बजट 2014 में 1,026 करोड़ रुपये से 4 गुना से अधिक बढ़कर 2022 में 4,379 करोड़ रुपये हो गया है। कृषि और बागवानी बजट में 2014 से 2022 तक चक्रवृद्धि वार्षिक वृद्धि दर 19.9 प्रतिशत है। उन्होंने बताया कि वर्ष 2022-23 में कुल 7,500 किसानों, जिनमें 156 महिला किसान, 255 युवा किसान और 405 अधिकारी शामिल हैं, को प्राकृतिक खेती अपनाने का प्रशिक्षण दिया गया। प्राकृतिक खेती के लिए एक पोर्टल शुरू किया गया और अब तक 6,000 से अधिक किसानों ने इस पोर्टल पर अपना पंजीकरण कराया है। इसी प्रकार, विभाग का वर्ष 2023-24 के लिए फसल विविधीकरण एवं जल संरक्षण के तहत एक लाख एकड़ भूमि पर धान के अलावा दूसरी फसलों का प्रस्ताव है।
किसानों को मिला प्रोत्साहन
कृषि एंव किसान कल्याण विभाग का डिजिटल कृषि पर नई परियोजनाओं और अवधारणाओं जैसे परिष्कृत खेती, फसल उपज के आंकलन के लिए ड्रोन का उपयोग और कीट-रोग प्रबंधन शुरू करने का प्रस्ताव है। वर्ष 2023 अंतर्राष्ट्रीय मोटे अनाज का वर्ष है और राज्य सरकार बाजरा फसलों के अनुसंधान और उपयोग को बढ़ावा देने पर बल दे रही है। इस उद्देश्य के लिए खरीफ 2023 से भिवानी में एक पोषक अनाज अनुसंधान केंद्र कार्यरत हो जाएगा। उन्होंने बताया कि वर्ष 2022-23 में बागवानी किसानों के लिए मुख्यमंत्री बागवानी बीमा योजना नामक समर्पित फसल बीमा योजना शुरू करने वाला हरियाणा एकमात्र राज्य है। इसमें 46 सब्जी व बागवानी फसलों को शामिल किया गया है और प्रीमियम की राशि 750 रुपये से लेकर1,000 रुपये प्रति एकड़ है और बीमा राशि 30,000 रुपये से लेकर 40,000 रुपये प्रति एकड़ है। दत्तात्रेय ने कहा कि सहकारिता के क्षेत्र में हरियाणा सरकार उल्लेखनीय कार्य कर रही है।
सूचना प्रौद्योगिकी पर जोर
राज्य सरकार द्वारा सूचना प्रौद्योगिकी का अधिक से अधिक प्रयोग करने की प्रतिबद्धता दोहराते हुए कहा कि प्रदेश सरकार प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी द्वारा गाँधी जयंती की पूर्व संध्या पर देश में आरंभ की गई 5जी सेवाओं को हरियाणा में लागू करने की पहल की है और इसी कड़ी में गुरुग्राम, पानीपत, फरीदाबाद, हिसार और रोहतक में 5जी सेवाएं आरंभ हो चुकी हैं और अब 5जी सेवाओं को पूरे राज्य में चरणबद्ध तरीके से लागू किया जाएगा। सरकार को कई नई पहल करने के लिए बधाई देते हुए कहा कि नागरिकों की पेपरलेस और फेसलेस माध्यम से ई.गवर्नेंस की कड़ी में परिवार पहचान पत्र की एक अनूठी योजना लागू की है जिसमें 73.11 लाख परिवारों के 2.88 करोड़ सदस्यों का अपग्रेडिड डाटा उपलब्ध है। सरकार का प्रयास है कि अगले वर्ष परिवार पहचान पत्र का दायरा बढ़ाकर इससे सभी सरकारी डेटाबेस और योजनाओं को जोड़ा जाएगा।
स्वास्थ्य, चिकित्सा शिक्षा और अनुसंधान
राज्यपाल ने कहा कि सरकार ने ई-उपचार एप्लिकेशन को प्रदेश के 56 स्वास्थ्य सुविधा केन्द्रों में सफलतापूर्वक लागू किया है। रोगियों ने लगभग 8.2 करोड़ ओ.पी.डी. सेवाओं का लाभ उठाया है और उनका रिकॉर्ड इस एप्लिकेशन में डाला गया है। करनाल के गांव कुटेल में स्वास्थ्य विश्वविद्यालय को उत्कृष्टता केन्द्र के रूप में स्थापित किया जा रहा है। इस विश्वविद्यालय में 730 बिस्तरों के साथ सुपर स्पेशिलिटी अस्पताल की सुविधा होगी। उन्होंने कहा कि सरकार ने 21 नवम्बर, 2022 को अंत्योदय इकाइयों का व्यापक स्वास्थ्य बीमा (चिरायु) योजना शुरू की है, जिसका लक्ष्य आयुष्मान भारत के लाभों को 29 लाख अंत्योदय परिवारों अर्थात् 1.80 लाख रुपये या इससे कम वार्षिक आय वाले परिवारों तक पहुंचाना है। चिरायु योजना के तहत 46.7 लाख से अधिक आयुष्मान कार्ड बनाए गए हैं।
तकनीकी शिक्षा को बढ़ावा
राज्यपाल ने कहा कि तकनीकी शिक्षा के छात्रों की रोजगार क्षमता बढ़ाने के लिए सरकार ने चार राजकीय बहुतकनीकी संस्थानों में उत्कृष्टता केंद्र स्थापित किए हैं। बहुतकनीकी संस्थानों में तकनीकी छात्रों की नियुक्ति प्रतिशतता लगभग 74 प्रतिशत है। विभाग ने 5 जिलों में स्टार्टअप इन्क्यूबेटरों की स्थापना की है। अम्बाला छावनी में 5 एकड़ क्षेत्र में आर्यभट्ट विज्ञान केन्द्र स्थापित किया जा रहा है। वर्तमान सरकार के कार्यकाल के दौरान उद्यम प्रोत्साहन नीति-2015 के तहत 495 समझौता ज्ञापनों पर हस्ताक्षर किये गये, जिनमें से 26,002 करोड़ रुपये के निवेश तथा 37,566 व्यक्तियों के रोजगार के 188 समझौता ज्ञापनों का कार्यान्वयन विभिन्न स्तर पर चल रहा है।