
लोकपथ लाइव, मुजफ्फरनगर। एनसीआर में शामिल मुजफ्फरनगर में प्रदूषण के खिलाफ चल रहे भाकियू अराजनैतिक के धरने के दौरान प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड के क्षेत्रीय अधिकारी ने 19 पेपर मिलो में जल रहे कचरे की जांच कराई। जांच रिपोर्ट में पुष्टि हुई कि इन सभी पेपर मिलो में आरडीएफ ईंधन की आड़ में नगरपालिका का सालिड वेस्ट जल रहा है, जो एनसीआर क्षेत्र में जलाने के लिए प्रतिबंधित है। सभी पेपर मिलो को नोटिस भेजा गया है।
धरने के दौरान ही प्रदूषण विभाग ने बनाया नोटिस
क्षेत्रीय प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड की टीम ने प्रदूषण बढ़ने की समस्या पर हल्ला मचने पर अपनी कार्रवाई तेज की। 19 पेपर मिलो की एई कुंवर संतोष कुमार ने जेई राजा गुप्ता, संध्या शर्मा और लैब टेक्निशियन आकाश जोशी आदि से जांच कराई। 20 दिसंबर को क्षेत्रीय प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड अधिकारी गीतेश चंद्रा ने एक रिपोर्ट तैयार की, जिसमें उन्होंने माना कि एनसीआर में संचालित पेपर मिलो में आरडीएफ का प्रयोग ईंधन के रूप में राज्य बोर्ड से सशर्त जलाने पर सहमति है, लेकिन जांच में सामने आया कि पेपर मिलो में ईंधन के रूप में आरडीएफ के स्थान नगरपालिका का सालिड वेस्ट (एमएसडब्लू) जलाया जा रहा है, जो पूरी तरह प्रतिबंधित है।
इन पेपर मिलो को कार्रवाई की चेतावनी
इस आधार पर अग्रवाल डुप्लेक्स, शाकंभरी पल्प एड पेपर, बिंदल पेर मिल, बिंदल डुप्लैक्स, टिहरी पल्प एडं पेपर, श्री भागेश्वरी पेपर मिल, श्री बालाजी पेपर मिल, कृष्णांचल पल्प एडं पेपर मिल, सिद्धेश्वरी इंडस्ट्री, केके डुप्लेक्स, महालक्ष्मी क्राफ्ट एडं टीशु, ओरिएंट बोर्ड पेपर मिल, सिल्वरटन पेपर मिल, सिल्वरटन पेपर लिमेटिड यूनिट-2, दिशा इंडस्ट्रीज, गर्ग डुप्लेक्स, जीनस पेपर एडं बोर्ड, एरिस्ट्रोक्राफ्ट पेपर्स और गैलेक्सी पेपर मिल को प्रदूषण बोर्ड अधिकारी ने नोटिस जारी किया है। क्षेत्रीय अधिकारी गीतेश चंद्रा ने जारी किए नोटिस में चेतावनी जारी की है, पर्यावरण मानकों की पेपर मिल संचालक अवहेलना कर रहे हैं। लिगेसी वेस्ट का प्रयोग स्वास्थ्य हानि का कारण बन रहा है। आगे जांच में मानको के वितरित ईंधन जलता मिलने पर कार्रवाई के लिए बोर्ड मुख्यालय लखनऊ को संस्तुति कर कठोर कार्रवाई होगी।
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