
विपक्ष के आरोपों और सवालों का केंद्र सरकार ने दिया करारा जवाब
LP Live, New Delhi: संसद में पहलगाम हमले के बाद आतंकवाद के खिलाफ आपरेशन सिंदूर पर चल रही चर्चा के दौरान मंगलवार को केंद्रीय गृहमंत्री अमित शाह ने ऐलान किया कि पहलगाम के तीनों गुनाहगार आतंकियों को सेना, अर्द्धसैनिक बल और जेएंडके पुलिस के संयुक्त आपरेशन महादेव के तहत सोमवार को हुई मुठभेड़ में ढ़ेर कर दिया गया। उन्होंने इस बात की भी पुष्टि की है कि तीनों आतंकी पाकिस्तान के थे, जिनकी पहचान आतंकियों के गिरफ्तार मददगारों ने शवों को देखकर की है।


लोकससभा में आपरेशन सिंदूर पर चल रही चर्चा के दौरान मंगलवार को केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने सदन को यह जानकारी दी। उन्होंने यह भी बताया कि कैसे ‘ऑपरेशन महादेव’ ने आतंकियों को मार गिराने में सफलता मिली। शाह ने सदन में जानकारी दी कि रविवार को भारतीय सेना, सीआरपीएफ और जम्मू कश्मीर पुलिस ने ‘ऑपरेशन महादेव’ के जरिए तीन आतंकवादियों को मारा है, जिनमें सुलेमान उर्फ फैजल, अफगान और जिबरान शामिल हैं। इनमें सुलेमान लश्कर-ए-तैयबा का कमांडर था, जो गगनगीर आतंकी हमले में शामिल था। इसके सारे सबूत एजेंसियों के पास हैं। आतंकी अफगान और जिबरान, लश्कर के ‘ए’ श्रेणी के आतंकी थे। अमित शाह ने स्पष्ट तौर पर कहा कि तीनों आतंकवादी बैसरन घाटी हमले में शामिल थे।

ऐसे चला ‘आपरेशन महादेव’
सदन में बोलते हुए गृह मंत्री ने बताया कि 22 मई को आईबी के पास सूचना आई थी। डाचीगाम क्षेत्र में आतंकियों की मौजूदगी की जानकारी मिली थी। सेना और आईबी ने सिग्नल कैप्चर करके 22 आतंकवादियों के बारे में जानकारी पुख्ता की। 22 जुलाई को सेंसर के जरिए आतंकियों के मौजूद होने की पुष्टि हुई। सेना के 4 पैरा के जवान, सीआरपीएफ और जम्मू कश्मीर पुलिस के जवान एक साथ आतंकियों को घेरने का काम किया। सोमवार को ऑपरेशन हुआ, उसमें पहलगाम हमले के तीनों आतंकवादी मौत के घाट उतार दिए गए।
ऐसे की गई मृतक आतंकियों की पहचान
विपक्ष के सवालों पर विराम लगाते हुए अमित शाह ने लोकसभा में जानकारी दी है कि पहलगाम हमले के दौरान मिले कारतूस के खोखे और आतंकवादियों की राइफल के खोखे का मिलान हुआ है। आतंकवादियों के पास से एक एम-9 अमेरिकन और दो एके-47 राइफल बरामद की गई थीं। गृह मंत्री ने लोकसभा में जानकारी दी कि चंडीगढ़ एफएसएल की रिपोर्ट में कारतूस के मिलान हुए हैं। 6 वैज्ञानिकों ने क्रॉस चेक किया है। वैज्ञानिकों ने पुष्टि की है कि यह वही गोलियां हैं जो पहलगाम में चलाई गई थीं। दूसरी ओर पहलगाम हमले के गुनहगार आतंकियों की पुष्टि के सवाल पर सदन को बताया गया कि ये तीनों आतंकियों ने ही पहलगाम में 26 टूरिस्टों को मारा था? इसे लेकर अमित शाह ने संसद में विस्तार से बताया। उन्होंने राइफल कनेक्शन से समझाया है कि कैसे राइफल की नाली और खोखो को मैच किया गया था और एफएसएल की जांच से कन्फर्म हुआ कि ऑपरेशन महादेव में मारे गए आतंकी ही पहलगाम अटैक के आतंकी थे। उन्होंने कहा कि आतंकियों के पास से बरामद एके-47 और एम-9 कर्बाइन की जांच से यह कन्फर्म हुआ। पहलगाम अटैक के बाद जिन राइफल की नाली और खोखो को रिकवर किया था, उसे चंडीगढ़ एफएसएल में टेस्टिंग के लिए भेज दिया गया था। आतंकियों के पास से जो खोका-कारतूस बरामद किए गए, उनकी पुष्टि वैज्ञानिकों से कराई गई, इसमें कन्फर्म हुआ कि इन हथियारों से ही पहलगाम अटैक हुआ था। वहीं केंद्रीय गृहमंत्री अमित शाह ने कहा कि मारे गए पाकिस्तानी के वोटर नंबर, रायफल, पाकिस्तान की चाकलेट जैसे सामन की बरामदगी आदि सब डिटेल हमारे सामने है।
विपक्ष पर कसा तंज
केंद्रीय गृहमंत्री अमित शाह ने कहा कि मारे गए पाकिस्तानी के वोटर नंबर, रायफल, पाकिस्तान की चाकलेट जैसे सामन की बरामदगी आदि सब प्रमाण सामने आने के बावजूद इसके देश का पूर्व गृह मंत्री पाकिस्तान को क्लीन चिट क्यों दे रहा है? पाकिस्तान के आतंकी नहीं थे तो पाकिस्तान पर हमला क्यों किया? कांग्रेस के नेता चिदंबरम ने पाकिस्तान को बचाने का षडयंत्र रचा है।











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