
लोकपथ लाइव, मुजफ्फरनगर। फर्जी बिलों पर आईटीसी क्लेम कर व जीएसटी चोरी कर करोडों रुपए की राजस्व हानि पहुंचने के मामले की विवेचना पुलिस अधिकारियों ने मुजफ्फरगनर से सहारनपुर जनपद ट्रांसफर कराई है। मुजफ्फरनगर की खालापार पुलिस ने जीएसटी चोरी के खेल का खुलासा कर दो आरोपियों को गिरफ्तार किया था। इस मामले की विवेचना खालापार पुलिस कर रही है, लेकिन अब इस मामले की विवेचना सहारनपुर पुलिस करेगी। बोगस फर्मों के जरिए करोड़ों रुपये का आईटीसी क्लेम लेने वाली फर्मों का मास्टर माइंड दुबई में बैठकर अपना कारोबार कर रहा है, जिसे खालापार पुलिस ने अपनी विवेचना में आरोपी बनाया है।
दरअसल, कुछ महीने पूर्व खालापार थाना पुलिस ने मेरठ रोड पर एक मकान में किराए पर बोगस फर्म को पकडा था। फर्म के जरिये कई फर्मो का माल ट्रांसफर कर जीएसटी चोरी का खेल चल रहा था। पुलिस ने मौके से 116 फाइल पकडी थी, जिसके जरिये करोडों रुपए की जीएसटी चोरी कर सरकार को राजस्व की हानि पहुंचायी जा रही थी। यह कागजात जीएसटी अधिकारियों को भी दिए थे, ताकि उनके द्वारा इसकी विस्तृत जांच हो सके। इस मामले में पुलिस ने दो आरोपियों को गिरफ्तार किया था। उसके बाद दो आरोपियों को कोटद्वार से गिरफ्तार किया गया था।
खालापार थाना पुलिस ने अपनी विवेचना में शादाब निवासी मल्हूपुरा व सरगना सोनू उर्फ राशिद निवासी शालीमार गार्डन गाजियाबाद को आरोपी बनाया था। सोनू उर्फ राशिद के आरोपी बनाए जाने पर पुलिस पर लगातार दबाव बनाया जा रहा था, लेकिन खालापार पुलिस लगातार उसके खिलाफ साक्ष्य जुटाने में लगी हुई थी। वहीं आरोपी शादाब ने हाईकोर्ट से गिरफ्तारी पर स्टे ले लिया। अब यह विवेचना मंडल स्तर से सहारनपुर जनपद में ट्रांसफर करा ली गयी है। पुलिस सूत्रों का कहना कि जनपद के अधिकारी किसी भी कीमत पर सरगना को राहत देने के लिए तैयार नही थे। उसके बाद आरोपियों ने मामले की विवेचना सहारनपुर जनपद को ट्रांसफर करा ली है।
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