साइबर सुरक्षा को लेकर खड़े होने लगे सवाल
LP Live, New Delhi: दुनियाभर में साइबर अपराध ने किस तरह अपने पैर पसार रखे हैं, कि हैकरों ने भारत के सर्वोच्च न्यायालय (सुप्रीम कोर्ट) का आधिकारिक यूट्यूब चैनल को ही हैक कर लिया। यही नहीं हैकर ने हैकर्स ने चैनल पर अनधिकृत गतिविधियां शुरु की। इस पर सुप्रीम कोर्ट की आईटी टीम ने चैनल को सुरक्षित करने के आवश्यक कदम उठाए हैं।
देश में सुप्रीम कोर्ट जैसी महत्वपूर्ण संस्था की डिजिटल सुरक्षा व्यवस्था में खामियां आना साइबर सुरक्षा को लेकर बड़े सवाल खड़े करता है। भारत के सर्वोच्च न्यायालय का आधिकारिक यूट्यूब चैनल हैक होने की खबर के बाद तुरंत कार्रवाई करते हुए चैनल को अस्थायी रूप से बंद कर दिया गया। हालांकि यह अभी तक स्पष्ट नहीं हो पाया है कि हैकिंग के पीछे किसका हाथ है और इस हमले का मकसद क्या था। साइबर विशेषज्ञों का कहना है कि इस तरह की घटनाओं से न केवल संस्थाओं की प्रतिष्ठा प्रभावित होती है, बल्कि इससे संवेदनशील जानकारियों के लीक होने का भी खतरा रहता है। आधिकारिक सूत्रों ने बार एंड बेंच को बताया कि सर्वोच्च न्यायालय का प्रशासन वर्तमान में यूट्यूब चैनल के हैकिंग की जांच कर रहा है।
दरअसल सुप्रीम कोर्ट इस यूट्यूब चैनल पर संविधान पीठों में सुनवाई होने वाले मामलों और सार्वजनिक हित से जुड़े मामलों की सुनवाई का लाइव प्रसारण किया जाता है। हाल ही में आरजी कर मेडिकल कॉलेज और अस्पताल में हुए बलात्कार और हत्या के मामले में सुओ मोटो याचिका पर सुनवाई का लाइव प्रसारण यूट्यूब पर किया गया था। हैकर्स ने पहले की सुनवाई के वीडियो प्राइवेट कर दिए थे और क्रिप्टोकरेंसी एक्सआरपी का ऐड चला दिया था।
‘यह पेज उपलब्ध नहीं है’
हालांकि अब यूट्यूब चैनल पर वीडियो सुप्रीम कोर्ट का चैनल खोलने पर कुछ भी नहीं दिख रहा है। अगर आप अभी यूट्यब पर जाकर सुप्रीम कोर्ट लिखेंगे तो चैनल तो दिखा रहा है, लेकिन उस पर क्लिक करने पर यह पेज उपलब्ध नहीं है। इसके लिए खेद है। कुछ और खोजने का प्रयास करें लिखकर आ रहा है। बता दें कि सुप्रीम कोर्ट के यूट्यूब चैनल पर दो लाख से अधिक सब्सक्राइबर हैं। कुछ देर के लिए चैनल पर क्रिप्टोकरेंसी एक्सआरपी का ऐड वीडियो चलने लगा था। हैकर्स ने चैनल पर एक ब्लैक वीडियो चलाया जिसका टाइटल ‘ब्रैड गारलिंग हाउस: रिपल रिस्पॉन्ड्स टू द एसईसी $2 बिलियन फाइन! एक्सआरपी प्राइस प्रीडिक्शन’ था।